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छत्तीसगढ़ PWD परीक्षा में चीटिंग के मामले को दिया जा रहा गलत सांप्रदायिक रंग

स्थानीय पुलिस ने दोनों आरोपियों के मुसलमान होने की बात नकारी है, और कहा है कि दोनों हिंदू समुदाय से हैं

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सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें सिर पर स्कार्फ पहने एक लड़की वॉकी-टॉकी और डिजिटल टैबलेट जैसी टेक्नोलॉजी की मदद से छत्तीसगढ़ में सरकारी परीक्षा के लिए बैठे एक कैंडिडेट की मदद करती दिख रही है.

  • इस क्लिप में, वीडियो को रिकॉर्ड कर रहे लोग महिला का नाम पूछते और पुलिस बुलाने की धमकी देते देखे जा सकते हैं.

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दावा: वीडियो को शेयर करने वालों ने दावा किया है कि हिंदुओं को परीक्षा हॉल में घुसने से पहले सबकुछ उतारने के लिए कहा जाता है, वहीं, मुसलमानों को बुर्का पहनने की अनुमति है.

  • इसमें आगे कहा गया है कि छत्तीसगढ़ में सरकारी परीक्षा सेंटर के अंदर एक बुर्का पहनी लड़की के पास से कैमरा और माइक्रोफोन मिला है.

  • उसकी मदद बाहर रिक्शा में बैठी एक लड़की कर रही थी. उसके पास वॉकी-टॉकी और टैबलेट था.

(इसी तरह के दूसरे दावों के आर्काइव्स को यहां और यहां देखा जा सकता है.)

क्या ये दावा सच है ? : नहीं, ये दावा गलत है. स्थानीय पुलिस ने द क्विंट को बताया है कि सोशल मीडिया पर किए जा रहे दावों से उलट, आरोपी महिला की पहचान एक हिंदू के रूप में हुई है.

हमें जांच में क्या मिला ? : सबसे पहले, हमने क्लिप को अलग-अलग स्क्रीनशॉट्स में बांटा और उनमें से कुछ पर गूगल रिवर्स इमेज सर्च किया.

  • इससे हमें हिंदी खबर लाइव का 17 जुलाई का एक इंस्टाग्राम पोस्ट मिला, जिसमें वायरल क्लिप इस्तेमाल की गई थी.

  • कैप्शन के मुताबिक, बिलासपुर के सरकंडा पुलिस स्टेशन इलाके में एक घटना हुई थी, जब एक लड़की ने अपने अंडरगार्मेंट्स में कैमरा छिपाया हुआ था, और एक वायरलेस डिवाइस के जरिये वो अपनी बहन से जवाब बताने के लिए कह रही थी.

  • ये छत्तीसगढ़ में लोक निर्माण विभाग (PWD) की सब-इंजीनियर परीक्षा के दौरान हुआ.

  • हमने मामले से जुड़े कीवर्ड सर्च किए, जिससे हमें 14 जुलाई की दैनिक भास्करद इंडियन एक्सप्रेस और द टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट्स मिली. इन रिपोर्ट्स के मुताबिक, जशपुर की दो बहनें, अनु सूर्या (26) और अनुराधा (23) को उसी दिन बिलासपुर से गिरफ्तार किया गया था.

  • उन्होंने छत्तीसगढ़ व्यावसायिक परीक्षा बोर्ड की डिप्टी इंजीनियर पदों के लिए विभागीय परीक्षा में नकल करने की कोशिश की थी.

  • उनके प्लान में परीक्षा हॉल के अंदर बैठी अनु का अपने स्मार्टफोन के जरिये पेपर को चुपके से स्कैन कर बाहर ऑटो रिक्शा में बैठी अनुराधा को भेजना शामिल था.

  • लड़की के पास टैबलेट, वायरलेस हेडसेट, मिनी ईयरबड्स और एक वायरलेस सेट मिला, जिनकी कीमत लगभग 60,000 रुपये होगी. छोटी बहन गूगल पर सवालों के जवाब तलाश रही थी, और वायरलेस सेट के जरिये बहन को भेज रही थी.

  • दोनों बहनों के प्लान का पता तब चला जब बहनों को लाने वाले ऑटो रिक्शा ड्राइवर ने इलेक्ट्ऱॉनिक डिवाइस को देखा और NSUI को अलर्ट किया.

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  • NSUI टीम ने उनसे पूछताछ की और उनके वायरलेस सेट और टैबलेट के वीडियो रिकॉर्ड किए.

  • इसी दौरान, स्टूडेंट विंग ने परीक्षा केंद्र पर सुपरवाइजर्स को अलर्ट किया.

  • एक ग्रुप ने अनु की तलाशी ली और स्पाई कैमरा और ईयरपीस बरामद किया. एक पुलिस प्रवक्ता के मुताबिक, उसने परीक्षा खत्म होने से 15 मिनट पहले ही लगभग 100 सवाल हल कर लिए थे.

  • दोनों को सरकंडा पुलिस के हवाले कर दिया गया. इसके बाद, दोनों बहनों पर भारतीय न्याय संहिता की धारा 318 (2-धोखाधड़ी) और 11 (2-छोटे संगठित अपराध) के तहत मामला दर्ज किया गया.

  • रिपोर्ट्स में दोनों बहनों के धर्म को लेकर कोई जानकारी नहीं है.

स्थानीय पुलिस ने दावों को नकारा : द क्विंट ने सरकंडा पुलिस स्टेशन के एसएचओ निलेश पांडे से संपर्क किया, जिन्होंने मामले में सांप्रदायिक एंगल और आरोपियों के मुस्लिम होने से इनकार किया है. उन्होंने कहा, "दोनों लड़कियां हिंदू हैं और उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया है."

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निष्कर्ष: सोशल मीडिया यूजर्स पर छत्तीसगढ़ PWD नकल मामले को गलत सांप्रदायिक दावे से शेयर किया जा रहा है.

(अगर आपके पास भी ऐसी कोई जानकारी आती है, जिसके सच होने पर आपको शक है, तो पड़ताल के लिए हमारे वॉट्सऐप नंबर  9540511818 या फिर मेल आइडी webqoof@thequint.com पर भेजें. सच हम आपको बताएंगे. हमारी बाकी फैक्ट चेक स्टोरीज आप यहां पढ़ सकते हैं.)

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