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सीएम हेमंत सोरेन (CM Hemant Soren) ने ईडी के सहायक निदेशक देवव्रत झा के नाम एक पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने उनके ऊपर लग रहे आरोपों का जवाब दिया है. बता दें कि गुरुवार को ED के दफ्तर में सीएम सोरेन पूछताछ के लिए पहुंचे. सीएम हेमंत सोरेन के साथ उनके भाई और दुमका विधायक बसंत सोरेन भी ईडी ऑफिस पहुंचे थे. लेकिन ईडी ऑफिस के कार्यालय के बाहर तैनात सुरक्षाकर्मियों ने बंसत सोरेन को बाहर ही रोक दिया. जबकि सीएम हेमंत सोरेन अंदर चले गये.
Oसीएम हेमंत सोरेन ने ED को लिखे अपने लेटर में लिखा है-
लेटर में आगे लिखा है- खनन विभाग से मिले आंकड़ों के मुताबिक पिछले दो साल में पूरे झारखंड में करीब 9 करोड़ मिट्रिक टन पत्थर का खनन हुआ है. इसमें 20 प्रतिशत हिस्सा साहेबगंज जिले का है. राज्य को 95 रुपए प्रति मिट्रिक टन रॉयल्टी बोल्डर पर, 175 रुपए स्टोन चिप्स पर और 18 रुपए स्टोन डस्ट पर मिलता है. इसी प्रकार एवरेज वेट के आधार पर 120 रुपए प्रत्येक मिट्रिक टन पत्थर पर रॉयल्टी मिलता है. दो साल में 1000 करोड़ रुपए रॉयल्टी के नुकसान के लिए 8 करोड़ मिट्रिक टन पत्थर का अवैध खनन साहेबगंज जिले में करना होगा. जो उस जिले में वैध खनन का चार गुणा अधिक होगा.
दो साल में 8 करोड़ मिट्रिक टन पत्थर के परिवहन के लिए 20 हजार से अधिक रेलवे रैक या 33 लाख से अधिक ट्रक की आवश्यकता होगी. रेलवे बगैर माइनिंग या मिनरल चलान के परिवहन की अनुमति नहीं देता है. ऐसा लगता है आपने एक भी रेलवे रैक बगैर चलान के नहीं पाया है. क्योंकि आपने अभी तक किसी भी रेलवे कर्मचारी या अधिकारी पर कोई कार्रवाई नहीं की है.
आपने बताया है कि साहेबगंज से पत्थर परिवहन के लिए 6500 रेलवे रैक का इस्तेमाल किया गया है. यदि ये सारे रेलवे रैक से अवैध रूप से खनन किए गए पत्थर का परिवहन किया जाता है, तो भी ये 8 करोड़ मिट्रिक टन अवैध खनन किए गए पत्थर का परिवहन नहीं कर सकते हैं, जिससे 1000 करोड़ रुपए का रॉयल्टी मिल सके.
सीएम ने आगे लिखा है-
ED के दफ्तर के अंदर सोरेन और भारी सुरक्षा
सीएम के भाई बसंत सोरेन और उनके सलाहकार को ED दफ्तर के बाहर रोका गया
ED के दफ्तर के अंदर सोरेन और भारी सुरक्षा
हेमंत सोरेन ने लिखा है कि ईडी को 1000 करोड़ रुपए घोटाले का आरोप लगाना शोभा नहीं देता. वह भी तब जब पिछले एक साल से जांच चल रहा है और 50 से अधिक रेड मारे जा चुके हैं. मुझे आशा है कि ईडी अपने क्लेम पर पुनर्विचार करेंगे और सनसनीखेज आरोप लगाने से बचेंगे.
ऐसा लगता है राज्य का मुख्य विपक्षी दल बीजेपी ने रवि केजरीवाल से मुझे अवैध खनन में फंसाने के लिए बयान दिलवाए हैं. रवि केजरीवाल 2020 तक जेएमएम का सदस्य था और कोषाध्यक्ष पद संभाल रहा था. उसके खिलाफ जेएमएम की तरफ से प्राथमिकी दर्ज कराई गई थी. मुझे कोई आश्चर्य नहीं होगा कि वह बदला लेने के लिए ऐसा कर रहा. मैं समझ रहा हूं कि वह मेरा जानी दुश्मन बन चुका है.
(इनपुट- आनंद दत्ता)
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